आज का पंचांग 16 मई 2020

Aaj Ka Panchang 16 May 2020

आज दिनांक 16 मई 2020 ज्येष्ठ मास के कृष्णा पक्ष की नवमी तिथि दिन शनिवार है। विक्रम संवत् 2077 है। सूर्य उत्तरायण की स्थिति में उत्तर गोलार्द्ध में स्थित हैं। ग्रीष्म ऋतु है।

आज नवमी तिथि सुबह 10 बजकर 23 मिनट तक रहेगी जिसके बाद दशमी तिथि का आरंभ हो जायेगा। साथ ही आज शतभिषा नक्षत्र पूर्वाह्न 11 बजकर 05 मिनट तक  बना हुआ है जिसके पश्चात पूर्वाभाद्रपद नक्षत्र का भी आरंभ होने के योग हैं। इसके अतिरिक्त वैधृति योग अर्धरात्रि 02 बजकर 35 मिनट तक बना हुआ है। साथ ही विष्कुंभ योग के भी आरंभ होने के योग है। फिर गर करण पूर्वाह्न 10 बजकर 23 मिनट तक है जिसके उपरांत विष्टि करण का आरंभ होगा। आज चन्द्रमा दिन रात कुंभ राशि पर संचार करेगा।

सूर्योदय: प्रातः 05 बजकर 18 मिनट पर।

सूर्यास्त: संध्या  06 बजकर 48 मिनट पर।

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शुभ मुहूर्तः

किसी भी कार्य का आरम्भ करने के पूर्व मुहूर्त का ज्ञात होना अत्यंत आवश्यक है। शुभ मुहूर्त में आरंभ किया गया कार्य सदैव शुभफलदायी होता है। आज के शुभ मुहूर्तों में अभिजीत मुहूर्त दोपहर 11 बजकर 56 मिनट से 12 बजकर 30 मिनट तक बना हुआ है। अभिजीत मुहूर्त में आरंभ किया गया कार्य अवश्य ही फलदायी होगा। साथ ही विजय मुहूर्त दोपहर 02 बजकर 18 मिनट से 03 बजकर 12 मिनट तक रहेगा। इसके अतिरिक्त आज निशीथ काल मध्यरात्रि 11 बजकर 42 मिनट से 12 बजकर 24 मिनट तक बना हुआ है। गोधूलि मुहूर्त शाम 06 बजकर 34 मिनट से 06 बजकर 58 मिनट तक है। वहीं अमृत काल अगले दिन सुबह 05 बजकर 01 मिनट से 06 बजकर 49 मिनट तक रहेगा।

उपरोक्त काल अवधि में आरम्भ किया कार्य ज्योतिषीय अनुरूप शुभ फलदायी है। अतः इस दौरान ही शुभ कार्यों की शुरुआत करें।

अशुभ मुहूर्तः

अशुभ मुहूर्त में किये जा रहे कार्यों में व्यवधान उत्पन्न होना तय माना जाता है। अतः किसी भी अच्छे कार्य के आरम्भ के पूर्व इन मुहूर्तों की काल अवधि की समझ आवश्यक है। आज के अशुभ मुहूर्त में राहुकाल सुबह 9 बजे से 10 बजकर 30 मिनट तक है। राहुकाल को सबसे अशुभ एवं संकट का काल माना जाता है। कहा जाता है इस दौरान आरम्भ किये गए कार्यों में अवश्य ही व्यवधान उत्पन्न होता है। इसके अतिरिक्त आज प्रातः 06 बजे से 07 बजकर 30 मिनट तक गुलिक काल रहेगा। साथ ही दोपहर 01 बजकर 30 मिनट से 3 बजकर 30 मिनट तक यमगंड रहेगा। इसके अलावा दुर्मुहूर्त काल सुबह 05 बजकर 18 मिनट से 7 बजकर 06 मिनट तक बना हुआ है और वर्ज्य काल शाम 06 बजकर 16 मिनट से 08 बजकर 3 मिनट तक है। पूरे दिन पंचक रहेगा। अतः ध्यान रहें उपरोक्त बताये गए अवधि में किसी महत्वपूर्ण कार्य को आरम्भ न करें।

मंत्र

इन मंत्रों द्वारा आप शनि देव को प्रसन्न कर अपना आज दिन एवं भविष्य सुनहरा बना सकते हैं:

ॐ शन्नोदेवीरभिष्टय आपो भवन्तु पीतये शन्योरभिस्त्रवन्तु न:।

ॐ प्रां प्रीं प्रौं स: शनैश्चराय नम:

ॐ ऐं ह्लीं श्रीशनैश्चराय नम:।

कोणस्थ पिंगलो बभ्रु: कृष्णो रौद्रोन्तको यम:।

आज के उपाय

  • शनिदेव को प्रसन्न करने के लिए सरसों के तेल का दीपक जलाएं।
  • शनि को प्रसन्न करने के अचूक उपाय यहाँ भी देख सकते हैं
  • प्रातः काल मे ब्रह्म मुहूर्त शनि एवं पीपल के वृक्ष में जल से अर्घ्य प्रदान करें। शनि भगवान को गुड़, तिल , सरसों का तेल आदि चढ़ाये।
  • शनि देव को नीले पुष्प चढ़ाकर इस मंत्र ऊँ शं शनैश्चराय नमः का 108 बार जप करें।