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विनायक चतुर्थी 26 मई 2020

Vinayak Chaturthi 26 May 2020

वक्रतुण्ड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभ ।
निर्विघ्नं कुरु मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा ॥

गजानन, लम्बोदर, गणनायक, एकदन्ता, गणराज, प्रथमपूज्य, विघ्नहर्ता, आदि नामों से जाने वाले प्रथम पूज्य श्री गणेश जी को कौन नहीं जानता है। अपने भक्तों के सभी विघ्न हरने तथा सुख एवं सिद्धि का आशीष देने वाले गणराज को हम विनायक के नाम से भी जानते हैं। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार हर बुधवार को गणेश जी का अर्चन किया जाता है। प्रतिमाह शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को गणनायक की आराधना की जाती है जिसे विनायक चतुर्थी के नाम से जाना जाता है। मान्यता है कि इस दिन विधि पूर्वक व्रत का संकल्प ले गजराज की आराधना करने से मनवांछित फल की प्राप्ति होती है। इस व्रत को करने से सभी प्रकार के मनोरथ की पूर्ति होती है।

आज 26 मई को जेष्ठ माह की विनायक चतुर्थी मनाई जायगी। आज के दिन अपने आराध्य देव श्री गणेश जी का आराधन करने का शुभ समय प्रातः 10:57 से लेकर दोपहर 01:40 तक रहेगा। ऐसी मान्यता है कि शीघ्र शुभ फल की प्राप्ति हेतु इसका पूजन दोपहर को करना चाहिए।

आइये जानते है की इस पुण्य दिन पर हमें क्या करना चाहिए और क्या नहीं:

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गणेश चतुर्थी को क्या करें

  • गणेश जी को दूर्वा अति प्रिय है, अतः इस दिन पूजन करते समय दूर्वा अर्पित करना चाहिए। कहा जाता है की दूर्वा से प्रसन्न हो गणेश जी सभी मोकामनायें पूर्ण करते है।
  • गणेश जी को विनायक चतुर्थी के अवसर पर उनका प्रिय मिष्ठान मोदक का भोग लगाना चाहिए।  
  • अगर हो सके तो किसी हाथी का पूजन करना भी लाभदायक होगा।
  • श्री गणेश के चरणों में गेंदे का फूल अर्पित करें।
  • फलों में गणेश जी का सबसे प्रिय फल केला होता है अतः इस मंगल दिवस पर गणेश जी को केला चढ़ाएं।
  • इस दिन व्रत करने वाले को रात-दिन जागरण करना चाहिए एवं श्री गणेश का कीर्तन करना चाहिए।
  • इस दिन पूजन के लिए कलश एवं सुपारी की स्थापना करनी चाहिये।
  • किसी ब्राह्मण को भोजन कराएं एवं दक्षिणा दें।

विनायक चतुर्थी पर क्या ना करें

  • विनायक चतुर्थी की पूजा में भूल से भी तुलसी दाल का प्रयोग ना करें।
  • इस दिन कोई भी चंद्र दर्शन ना करे अन्यथा आप पर झूठा इलज़ाम लग सकता है।
  • विनायक चतुर्थी पर गणेश जी की वंदना के समय उनकी पीठ का दर्शन नहीं करना चाहिए अन्यथा घर में दरिद्रता का वास होता है।
  • किसी भी बड़े-बुजुर्ग का अपमान नहीं करना चाहिए।
  • यदि आप इस दिन गणपति की मूर्ति घर ला रहे है तो उन्हें कभी भी विषम संख्या में ना लाएं।
  • मांस मदिरा जैसी तामसिक वस्तुओं का प्रयोग ना करें।
  • किसी को अपशब्द ना बोले, ना ही किसी से कलेश करें।

उम्मीद हैं कि हमारे इस लेख के माध्यम से आप सभी को यह ज्ञात हो गया होगा कि विनायक चतुर्थी पर क्या करना चाहिये और क्या नहीं। आशा है गजानन आप सभी पर अपनी मंगल दृष्टि बनाये रखें।

ॐ गन गणपतयः नमः